पुणे । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को महाराष्ट्र के पुणे में लोकमान्य तिलक पुरस्कार से सम्मानित किया गया। पीएम मोदी को पुणेरी पगड़ी और उप्रणम देकर सम्मानित किया गया। इस मौके पर एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार भी मौजूद रहे। एनसीपी में फूट के बाद पहली बार उपमुख्यमंत्री अजित और शरद पवार एक साथ आए। इस मौके पर शरद पवार ने अजित दादा का भी नाम लिया। महाराष्ट्र की राजनीति में पांच अहम लोग शरद पवार, नरेंद्र मोदी, एकनाथ शिंदे, देवेंद्र फडणवीस, अजित पवार एक साथ एक मंच पर आए। शरद पवार ने अपने भाषण के दौरान प्रोटोकॉल के तहत उपमुख्यमंत्री अजित पवार का नाम लिया। 
शरद पवार ने अपने भाषण की शुरुआत में कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, महाराष्ट्र के राज्यपाल बैस, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडनवीस और अजीत पवार। पुणे शहर का देश में विशेष महत्व है। छत्रपति शिवाजी महाराज और उनका इतिहास दुनिया जानती है। शिवराया का जन्म इसी जिले के शिवनेरी किले में हुआ था और उनका बचपन यहीं के लाल महल में बीता। शरद पवार ने बताया कि हिंदू स्वराज्य की स्थापना यहीं से शुरू हुई।
पीएम मोदी की मौजूदगी में बीजेपी-शिवसेना (शिंदे गुट) और अजित पवार गुट एक साथ मौजूद रहे। शरद और विपक्ष की ओर से मोदी के खिलाफ भारत गठबंधन बनाने के बाद पवार-मोदी का एक मंच पर आना अहम माना जा रहा है। महाविकास अघाड़ी नेताओं के विरोध के बावजूद पवार समारोह में शामिल हुए। मंच पर नरेंद्र मोदी का अभिवादन करते हुए पवार ने पहले मुस्कुराते हुए हाथ मिलाया और फिर उनकी पीठ थपथपाई। समझदार दर्शकों का इस पर ध्यान नहीं गया। अगले नंबर पर थे कांग्रेस नेता सुशील कुमार शिंदे। तभी लोकमान्य के वंशज रोहित तिलक नरेंद्र मोदी के पैरों को छूकर उनका आशीर्वाद लिया। इस बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नमामि गंगे योजना के लिए पुरस्कार राशि दान करने का फैसला किया है।