चंडीगढ़। हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए जुलाना सीट पर दिलचस्प और कांटे का मुकाबला होने की उम्मीद है। इस सीट पर भारतीय कुश्ती की दो दिग्गज हस्तियां, कविता दलाल और विनेश फोगाट आमने-सामने हैं। जहां विनेश कांग्रेस से तो वहीं कविता आम आदमी पार्टी (आप) से चुनावी मैदान में किस्मत आजमाने उतरी हैं।
कविता दलाल, जो कभी डब्ल्यूडब्ल्यूई रिंग में अपनी ताकत और तकनीक के लिए जानी जाती थीं, अब सियासी के रिंग में अपनी शक्ति दिखाने के लिए तैयार हैं। कविता का जन्म जींद जिले के जुलाना तहसील के मालवी गांव में हुआ था। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत वेटलिफ्टिंग से की थी और 2016 के साउथ एशियन गेम्स में गोल्ड मेडल जीतकर भारत का नाम रोशन किया था।
इसके बाद उन्होंने द ग्रेट खली की अकादमी ज्वाइन की और 2017 में डब्ल्यूडब्ल्यूई के साथ कॉन्ट्रेक्ट साइन किया। कविता की डब्ल्यूडब्ल्यूई यात्रा को खास पहचान मिली, खासकर उनकी सलवार सूट में रिंग में उतरने वाली छवि ने लोगों को खूब आकर्षित किया। 2021 में डब्ल्यूडब्ल्यूई से रिलीज होने के बाद कविता अमेरिका में चार साल रहीं और हाल ही में भारत लौटी हैं। अब, वह हरियाणा विधानसभा चुनाव में जुलाना सीट से चुनाव लड़ रही हैं और अपनी राजनीतिक यात्रा में नए मुकाम की ओर बढ़ रही हैं।
विनेश फोगाट जो कांग्रेस से जुलाना सीट पर चुनाव लड़ रही हैं, विनेश विश्व प्रसिद्ध रेसलर हैं और पेरिस ओलंपिक में फाइनल में पहुंचने वाली भारतीय टीम की सदस्य रह हैं। विनेश की कुश्ती में उपलब्धियों ने उन्हें एक प्रमुख उम्मीदवार बना दिया है। उनका चुनावी करियर कांग्रेस के लिए महत्वपूर्ण साबित हो सकता है। विनेश ने जंतर मंतर पर भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया था, और इस धरने में कविता दलाल ने भी उनका समर्थन किया था। यह समर्थन आज भी राजनीतिक परिदृश्य में चर्चा का विषय बना हुआ है।
जुलाना सीट पर कविता और विनेश के बीच मुकाबला दिलचस्प है। कविता ने हाल ही में आप में शामिल होकर अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व से प्रभावित होने की बात की थी। उनकी उपस्थिति ने जुलाना सीट पर मुकाबले को और भी रोमांचक बना दिया है। बीजेपी ने इस सीट पर योगेश बैरागी को उतारा है, जो इस चुनावी मुकाबले को त्रिकोणीय बना रहे हैं।
इस मुकाबले में कविता दलाल और विनेश फोगाट की भिड़ंत को लेकर मतदाता उत्सुक हैं। दोनों उम्मीदवारों की अलग-अलग पृष्ठभूमि और उपलब्धियों के बावजूद चुनावी मैदान में उनकी टक्कर दर्शाती है कि हरियाणा की राजनीति में नए चेहरे और नई रणनीतियों की कितनी अहमियत है। जुलाना सीट पर होने वाले इस मुकाबले के परिणामों का इंतजार पूरे राज्य को है। अब देखना है कि जुलाना की जनता किसे अपना विधायक चुनती है।